बंद घर में मिली चार लाशें, मुखिया का कुछ पता नहीं

बागेश्वर। घिरौली, जोशीगांव में हुई हृदय विदारक घटना ने सभी को रुला दिया है। महिला और उसके तीन मासूम बच्चों के शव मिलने के बाद पुलिस गहन जांच में जुट गई है। अभी तक हत्या या फिर आत्महत्या को लेकर संशय बना हुआ है। पुलिस ने भोजन के सैंपल आदि लिए। बच्चों की किताबें, आधार कार्ड आदि कब्जे में लिया है। पुलिस अधीक्षक हिमांशु कुमार वर्मा, सीओ अंकित कंडारी भी घटना स्थल पहुंचे। पुलिस की टीम ने सभी कोणों से मकान के आसपास जांच आदि की। गुरुवार की देर शाम घिरौली जोशी गांव में महिला समेत उसके तीन बच्चों के शव पुलिस ने बरामद किए।
शवों से बदबू आ रही थी और कीड़े रेंग रहे थे। शवों को रात में ही मोर्चरी में रखा गया। गांव के लोगों को सूचना दी गई। ग्राम प्रधान भूपाल राम ग्रामीण और रिश्तेदारों के साथ जिला अस्पताल पहुंचे। ग्राम प्रधान ने बताया कि कपकोट के भनार गांव निवासी 75 वर्षीय हर राम और 65 वर्षीय उदीमा देवी का रो-रोकर बुरा हाल है। उन्हें घटना की जानकारी मिली तो वह बेहोश हो गए। अधिक उम्र होने से वह अपने मृतक बहू नंदी देवी, पोती अंजलि, पोता कृष्णा और भाष्कर से अंतिम मुलाकात भी नहीं कर सके।
गांव में शोक की लहर दौड़ गई है। इधर, घटना स्थल पहुंचे पुलिस अधीक्षक ने घटना की पहली सूचना देने वाले पलंबर राजेंद्र सिंह भाकुनी को पूछताछ के लिए बुलाया। उनसे जरूरी जानकारी ली। मृतक मासूमों का पिता भूपाल राम सात तक ही पढ़ा हुआ है। वह बचपन से ही शरारती है। पिता के नाम पर गांव के लोगों से भी पैसा मांगता था। पहले लोगों ने उसे जमकर पैसे दिए। उसके पिता का गांव में सम्मान है। जब उसे गांव वालों ने पैसा देना बंद किया तो वह लगभग 20 वर्ष से गांव छोड़ कर चला गया था।