खालिदा जिया भ्रष्टाचार के मामले से बरी

बांग्लादेश में एक तरफ हिंदुओं पर हमले तेज हुए हैं, दूसरी तरफ इस्लामवादी खालिद जिया को भ्रष्टाचार के आरोपों में बरी कर दिया गया है।
उच्च न्यायालय ने 27 नवम्बर को पूर्व प्रधानमंत्री और बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) की अध्यक्ष खालिदा जिया को भ्रष्टाचार के एक मामले में बरी कर दिया। इससे हिंदुओं पर हमले और तेज होने की आशंका बढ़ गई है। इस मामले में निचली अदालत ने उन्हें सात साल के कारवास की सजा सुनाई थी। स्थानीय मीडिया ने यह जानकारी दी। जिया (79) को 2018 में जिया चौरिटेबल ट्रस्ट भ्रष्टाचार मामले में ढाका की एक अदालत ने दोषी करार दिया था।पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की अवामी लीग सरकार के कार्यकाल के दौरान उन्हें सात साल की कैद की सजा सुनाई गई थी और उन पर 10 लाख टका (बांग्लादेशी मुद्रा) का जुर्माना भी लगाया गया था। समाचार पोर्टल ‘बीडीन्यूज24 डॉट कॉम’ की खबर के मुताबिक, न्यायमूर्ति ए.के.एम. असदुज्जमां और न्यायमूर्ति सैयद इनायत हुसैन की पीठ ने जिया की अपील को स्वीकार करते हुए निचली अदालत द्वारा दोषी करार दिए जाने के फैसले को पलट दिया। भ्रष्टाचार निरोधक आयोग ने 2011 में तेजगांव थाने में भ्रष्टाचार का मामला दर्ज किया था, जिसमें जिया और तीन अन्य पर अज्ञात स्रोतों से ट्रस्ट के वास्ते धन जुटाने के लिए सत्ता का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया गया था।
जिया मार्च 1991 से मार्च 1996 तक और फिर जून 2001 से अक्टूबर 2006 तक बांग्लादेश की प्रधानमंत्री रहीं।