भारतीय वायुसेना ने श्रीलंका के सैनिकों को भी तूफान से बचाया

श्रीलंका में चक्रवाती तूफान दितवा में फंसे लोगों को बाहर निकालने के लिए वायुसेना ने ऑपेरशन सागर बंधु शुरू किया है। तूफान की वजह से फंसे 400 भारतीयों को अब तक वायुसेना सुरक्षित निकाल चुकी हैं। एक ओर वायुसेना के ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट सी 130 और आई एल 76 कोलंबो के भंडारनायके एयरपोर्ट से त्रिवेंद्रम के लिये शटल फ्लाइट चला रहे हैं, वहीं दूसरी तरफ वायुसेना के हेलीकॉप्टर एम आई 17 श्रीलंका में भूस्खलन में फंसे लोगों को निकालने में जुटे हैं। श्रीलंका अधिकारियों के अनुरोध पर कोटमाले क्षेत्र में व्यापक बचाव और राहत अभियान चलाया जा रहा है। यह पूरा इलाका सड़क संपर्क से पूरी तरह कट चुका है। मौसम बहुत खराब है। रविवार 30 नवम्बर दिन भर चले मिशन में वायुसेना के हेलीकॉप्टरों ने फंसे हुए 45 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला है। इनमें 6 गंभीर रूप से घायल हैं। बचाए गए लोगों में 12 भारतीय नागरिक शामिल है। इनमें 4 शिशु भी थे। इसके अलावा जर्मनी, दक्षिण अफ्रीका, स्लोवेनिया, यूके, पोलैंड, बेलारूस, ईरान, ऑस्ट्रेलिया, पाकिस्तान और बांग्लादेश सहित कई देशों के 30 से अधिक विदेशी नागरिकों को भी वायुसेना ने सुरक्षित कोलंबो पहुंचाया। इतना ही नहीं स्थानीय श्रीलंकाई नागरिकों को भी बुरी तरह प्रभावित इलाके से निकालने में सहायता प्रदान की गई। वहां पर जमीनी राहत कार्यों को मजबूत करने के लिए भारतीय वायुसेना ने श्रीलंकाई सेना के 57 जवानों को भी प्रभावित क्षेत्र से एयरलिफ्ट किया। साथ ही प्रभावित लोगों की मदद के लिए आरोग्य मैत्री पोर्टेबल अस्पताल भीष्म क्यूब्स और चिकित्सीय सामग्री सहित आवश्यक राहत वस्तुएं भी लगातार हवाई मार्ग से भेजी जा रही हैं। एनडीआरएफ और वायुसेना की टीमें लगातार लोगों की मदद में लगी है। मुसीबत की घड़ी में श्रीलंका के लोगों के लिए वायुसेना का युद्धस्तर पर राहत व बचाव अभियान चलाना दिखाता है कि कठिन हालात में भी भारत श्रीलंका के साथ मजबूती से खड़ा है। वायुसेना का कहना है कि श्रीलंका में राहत व बचाव कार्य 1 दिसम्बर को भी जारी था।



