विश्व-लोक

रमजान से पहले पाक के मदरसे में बम विस्फोट

पाकिस्तान के एक मदरसे में रमजान के पवित्र महीने से भीषण बम ब्लास्ट हुआ है। इसमें कई लोगों की जान चली गई है। बम विस्फोट के बाद पूरे इलाके में दहशत का माहौल है। बताया जा रहा है कि उत्तर-पश्चिमी पाकिस्तान के एक मदरसे में शुक्रवार को शक्तिशाली विस्फोट होने से पांच लोगों (नमाजियों) की मौत हो गई, जबकि कई अन्य लोग घायल हो गए। स्थानीय पुलिस ने यह जानकारी दी।जिला पुलिस प्रमुख अब्दुल रशीद ने बताया कि खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के अक्कोरा खट्टक जिले में स्थित मदरसे में यह विस्फोट हुआ। उस दौरान लोग मदरसे में नमाज पढ़ रहे थे। उन्होंने बताया कि अधिकारी मामले की जांच कर रहे हैं तथा मृतकों व घायलों को अस्पताल पहुंचाया जा रहा है। घायलों की इलाज चल रहा है।
पाकिस्तान को आशंका है कि यह ब्लास्ट किसी आतंकी संगठन की ओर से किया गया है। एक पाकिस्तानी अधिकारी ने बताया कि जामिया हक्कानिया नामक मदरसे में हुए हमले की जिम्मेदारी अभी तक किसी भी आतंकवादी संगठन ने नहीं ली है। उन्होंने बताया कि यह मदरसा अफगान तालिबान के साथ संबंधों के लिए जाना जाता है।
उधर, पाकिस्तान का एक हिंदू युवक भारत में तीर्थयात्रा के लिए रवाना हुआ था। मगर वाघा वार्डर पार करने और भारत में प्रवेश करने से पहले ही पाकिस्तानियों ने उसका अपहरण कर लिया। इससे परिवार में हड़कंप मच गया है। जानकारी के अनुसार हिंदू युवक को कुछ अज्ञात लोगों ने उस समय अगवा कर लिया जब वह और उसका परिवार भारत में महाकुंभ स्नान हेतु तीर्थयात्रा के लिए वाघा सीमा पार करने वाले थे। युवक की बहन ने यह दावा करते हुए पाकिस्तान के सेना प्रमुख और सरकार से उनकी सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करने की अपील की है।निर्मला ने बताया कि उनके भाई ओम प्रकाश कुमार को 21 फरवरी को लाहौर की ओर वाघा सीमा स्थित आव्रजन कार्यालय से अगवा कर लिया गया और वह अब भी लापता हैं। यह परिवार कराची से लगभग 230 किलोमीटर उत्तर-पूर्व में दक्षिणी सिंध प्रांत के मीरपुरखास में रहता है। सामाजिक कार्यकर्ता शिवा काछी द्वारा सोशल मीडिया पर जारी एक वीडियो संदेश में निर्मला ने बताया कि वह और उसका परिवार ओम प्रकाश समेत गंगा तीर्थयात्रा के लिए भारत जा रहे थे।
डॉक्टर निर्मला ने बताया कि जब वे सभी लोग आव्रजन काउंटर पर थे, तब सादे कपड़ों में कुछ लोग प्रकाश के पास आए और उनसे पूछताछ करने लगे। निर्मला ने बताया कि बाद में उन्होंने ओम प्रकाश का पासपोर्ट, वीजा फॉर्म और मोबाइल फोन ले लिया तथा उसे दूसरे कमरे में ले गए। निर्मला ने कहा, ‘‘जब मैंने पूछताछ की और रोने लगी तो उनमें से एक व्यक्ति ने मुझसे कहा कि मैं अपने परिवार को वापस घर ले जाऊं। हम केवल इतना जानते हैं कि उसके बाद वे
लोग मेरे भाई को किसी अज्ञात स्थान पर ले गए और वह अभी तक वापस नहीं आया है।’’

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