घर बनाने को अभी इंतजार, कोर और ग्रीन एरिया में 11 अगस्त तक नक्शा नहीं होगा पास

शिमला। डिवेलपमेंट प्लान के तहत शिमला के कोर और ग्रीन एरिया में रहने वाले लोगों को घरों के नक्शे पास करवाने के लिए इंतजार करना पड़ेगा। अभी 11 अगस्त तक किसी का भी नक्शा पास नहीं हो रहा है। वहीं सुप्रीम कोर्ट ने भी ओदश जारी कर दिए हैं कि 11 अगस्त तक कोई भी नक्शा पास न किया जाए। शिमला डिवेलपमेंट प्लान को दिए गए अंतिम रूप पर 11 अगस्त को सुनवाई निर्धारित की गई है। इस प्लान के लागू होने से शहर के कोर और ग्रीन एरिया में लोग भवन का निर्माण कर सकेंगे। नवंबर 2017 से शहर के इन दोनों क्षेत्रों में भवन निर्माण पर पाबंदी लगी हुई थी। यहां के लोग अब नगर निगम से नक्शा पास करवाकर भवन निर्माण कर सकेंगे। शिमला शहर के लिए करीब 43 साल बाद डिवेलपमेंट प्लान तैयार किया है।
सरकार ने विशेषज्ञों की सिफारिशों के आधार पर 8 फरवरी 2022 को ड्राफ्ट प्लान बनाया था। 11 फरवरी 2022 को इस बारे में आम जनता से आपत्तियां और सुझाव मांगे गए थे। इसमें निर्धारित 30 दिन के भीतर 97 आपत्तियां और सुझाव प्राप्त हुए। 16 अप्रैल 2022 को राज्य सरकार ने 2041 तक 22,450 हेक्टेयर भूमि के लिए ड्राफ्ट प्लान बनाया था। एनजीटी ने साल 2017 में शिमला शहर के कोर और ग्रीन एरिया में भवन निर्माण पर रोक लगा दी थी। इन आदेशों के कारण इस प्लान को अंतिम रूप नहीं दिया जा सका और बाद में एनजीटी ने इसे अवैध करार दिया था। एनजीटी के निर्णय को सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है। जाठियादेवी में नया शहर बसाया जाएगा। सिटी डिवेलपमेंट प्लान में शिमला शहर की बढ़ती आबादी को लेकर भी कई प्रावधान किए गए हैं। जाठियादेवी में एक लाख के करीब आबादी वाला नया शहर बसाने की योजना है। इस शहर को बसाने का मकसद शहर से बढ़ती आबादी का बोझ कम करना है। इसके अलावा फागू, नालदेहरा, घंडल और चमियाणा में सेटेलाइट शहर बनाए जाएंगे। इनमें आठ से दस हजार की आबादी को बसाने की प्लानिंग है। मुख्य शहर और नए कस्बों में यातायात को लेकर बाइपास रोड तैयार होंगे। शहर में रोप-वे आधारित यातायात व्यवस्था को बढ़ावा दिया जाएगा।
शहर के सर्कुलर रोड से बाहर के क्षेत्र को नॉन कोर एरिया माना गया है। इसमें अभी अढ़ाई मंजिला भवन निर्माण की छूट है। अब नया प्लान लागू होने से इस एरिया के लोग तीन मंजिला रिहायशी भवन बना सकेंगे। इसके अलावा पार्किंग फ्लोर अलग बना सकेंगे। पार्किंग के साथ रिहायश के लिए एटीक भी बन सकेगी। रिहायशी भवन की अधिकतम ऊंचाई 16.50 मीटर रहेगी। व्यावसायिक भवनों में चार मंजिलें बनाने की छूट रहेगी। पार्किंग फ्लोर और एटीक की भी सुविधा मिलेगी। अधिकतम ऊंचाई 21 मीटर रहेगी।
राजधानी में चिह्नित किए 17 ग्रीन एरिया में भी अब भवन निर्माण की मंजूरी मिलेगी। लोग एक मंजिल के साथ रिहायशी एटीक का निर्माण कर सकते हैं। इस क्षेत्र में निर्माण की शर्तें सबसे सख्त रहेंगी। पेड़ काटकर निर्माण की अनुमति नहीं मिलेगी। ग्रीन एरिया में सिर्फ रिहायशी भवन निर्माण की छूट मिलेगी। वहीं, शहर के कोर एरिया में सर्कुलर रोड से ऊपर के क्षेत्र को शामिल किया गया है। ग्रीन एरिया की तरह कोर एरिया में भी अभी भवन निर्माण पर रोक लगी है। प्लान लागू होते ही इस क्षेत्र में रिहायशी और व्यावसायिक दोनों तरह के भवन निर्माण के लिए दो मंजिलों के साथ पार्किंग फ्लोर और एटीक के निर्माण की छूट मिलेगी। इस एटीक का दोनों तरह के निर्माण में रिहायश के तौर पर इस्तेमाल हो सकेगा। इस क्षेत्र में बनने वाले रिहायशी भवनों और व्यावसायिक परिसरों की अधिकतम ऊंचाई 13 मीटर रहेगी।