लेखक की कलम

अश्विनी का सराहनीय प्रयास

(अशोक त्रिपाठी-हिफी फीचर)
बुराइयों का पूरी तरह अंत हो जाएगा, यह तो नहीं कहा जा सकता क्योंकि हमारी सृष्टि ही गुण और दोष का मिश्रण है। आग जो हमें ऊर्जा देती है, वही जलाकर खाक भी कर देती है। वारिश जीवन का बहुत बड़ा सहारा है लेकिन बाढ़ बनकर यही कितनों की जान ले लेती है। इसलिए हमारे मौजूदा समाज में सोशल मीडिया के सदुपयोग के साथ दुरुपयोग बढ़ा तो इलेक्ट्रानिक्स और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने अपनी तरफ से एक सार्थक प्रयास किया है। हालांकि समाज को स्वस्थ बनाये रखने के लिए सभी की जिम्मेदारी है। बच्चों को क्या करना चाहिए और क्या नहीं करना चाहिए इसके लिए सबसे पहले परिवार की जिम्मेदारी है क्योंकि सबसे ज्यादा समय तक बच्चा परिवार में रहता है। इसके बाद जिम्मेदारी विद्यालय की है क्योंकि बच्चा वहां ज्यादा समय बिताता है। सोशल मीडिया के ज्यादा प्रचलन ने आनलाइन गेम और न जाने क्या-क्या गतिविधियां शुरू कर दी हैं। बच्चे के हाथ में मोबाइल आते ही आनलाइन गेम ख्ुाल जाते हैं। कई बच्चों को तो इसकी लत पड़ गयी है और उन्हें मना करने पर वे एग्रेसिव हो जाते हैं। इसी तरह आनलाइन सट्टेबाजी ने युवा पीढ़ी को विशेष रूप से जुआरी बना दिया है। इस समस्या को दूर करने के लिए ही इलेक्ट्रानिक्स और आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने 1298 ब्लाक आर्डर जारी किये हैं। ये आदेश आनलाइन बेटिंग (सट्टेबाजी) और आनलाइन गेमिंग वेबसाइट बंद करने के लिए हैं। बच्चों को आनलाइन गेमिंग से मना करना आसान नहीं है लेकिन जब बेवसाइट ही बंद कर दी जाएगी तो वे आनलाइन गेम कहां से खेलेंगे हालांकि परिवार और स्कूलों की जिम्मेदारी इतने भर से खत्म नहीं हो जाएगी क्योंकि जिस बच्चे को मोबाइल की लत लग गयी है वह दूसरी बेवसाइट तलाश करेगा। बच्चों को मोबाइल पर ज्ञानवर्द्धक और स्वस्थ्य मनोरंजन वाली बेवसाइट देखने की आदत डलवाने का प्रयास करना होगा। फिलहाल अश्विनी के इस प्रयास की तारीफ तो करनी ही पड़ेगी।
ऑनलाइन गेमिंग और सट्टे बाजी के खिलाफ 20 मार्च को केंद्र सरकार की तरफ से कड़ी कार्रवाई की गई है। इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय ने 1298 ब्लॉक ऑर्डर जारी किए हैं। ये आदेश ऑनलाइन बेटिंग और गेमिंग वेबसाइट बंद करने के लिए जारी हुए हैं। केंद्र सरकार की तरफ से आदेश आईटी कानून के तहत जारी किए गए। केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने लोक सभा में इस बारे में जानकारी दी। इस प्रकार सरकार ने ऑनलाइन गेमिंग और जुए जैसी गतिविधियों पर लगाम लगाने के लिए ठोस कदम उठाए हैं। लोकसभा में इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि इन गतिविधियों को काबू करने के लिए मसौदा नियम जारी किए गए हैं। यह कदम युवाओं और बच्चों को इनके दुष्प्रभावों से बचाने के साथ-साथ साइबर अपराधों पर अंकुश लगाने की दिशा में एक बड़ी पहल हैं। मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बताया कि मसौदा नियमों में कई अहम प्रावधान शामिल किए गए हैं। इनमें एक विनियामक इकाई का गठन, ऑनलाइन गेमिंग में नुकसानदेह सामग्री पर रोक, युवाओं और बच्चों को लत से बचाने के उपाय, अभिभावकों के नियंत्रण को सुनिश्चित करना और आयु संबंधी नियमों का पालन शामिल है। उन्होंने कहा कि इन नियमों से ऑनलाइन गेमिंग को सुरक्षित और जिम्मेदार बनाने की कोशिश की जा रही है। वैष्णव ने लोकसभा में प्रश्नकाल के दौरान कहा कि साइबर अपराधों से निपटने में लगातार प्रगति हो रही है। समाज में भी जागरूकता बढ़ रही है और लोग साइबर जगत की अच्छाइयों को अपनाने के साथ-साथ इसकी बुराइयों से बचने की समझ विकसित कर रहे हैं। सरकार के प्रयासों से एक मजबूत विधिक रूपरेखा तैयार हो रही है, जो इस समस्या से निपटने में कारगर साबित होगी। मंत्री ने बताया कि ऑनलाइन सट्टेबाजी और जुए को बढ़ावा देने वाली वेबसाइटों पर भी सख्त कार्रवाई की गई है। साल 2024 में अब तक 1097 ऐसी वेबसाइटों को ब्लॉक किया गया है। उन्होंने कहा कि जब भी इस तरह के उल्लंघन केंद्र सरकार के संज्ञान में आते हैं, संवैधानिक रूपरेखा के तहत त्वरित कार्रवाई की जाती है।
वैष्णव ने स्पष्ट किया कि कानून व्यवस्था राज्य सरकारों का विषय है, लेकिन इंटरमीडियरी (मध्यवर्ती) के रूप में इन वेबसाइटों का नियमन केंद्र के अधिकार क्षेत्र में आता है। उन्होंने कहा, “उल्लंघन की स्थिति में राज्य और केंद्र मिलकर इससे निपट सकते हैं। दोनों स्तरों पर सहयोग से इस समस्या का समाधान संभव है। कांग्रेस सांसद एस जोतिमणि, तृणमूल कांग्रेस के कीर्ति आजाद और भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने ऑनलाइन गेमिंग और जुए के कारण युवाओं और उनके परिवारों पर पड़ रहे बुरे प्रभावों को लेकर चिंता जताई। सांसदों ने ऐसी घटनाओं का उल्लेख करते हुए सरकार से कठोर कदम उठाने की मांग की। जवाब में वैष्णव ने आश्वासन दिया कि सरकार इस दिशा में लगातार काम कर रही है।
साइबर अपराध एक ऐसा अपराध है जिसमें कंप्यूटर और नेटवर्क शामिल है। किसी भी कंप्यूटर का अपराधिक स्थान पर मिलना या कंप्यूटर से कोई अपराध करना कंप्यूटर अपराध कहलाता है। कंप्यूटर अपराध में नेटवर्क शामिल नही होता है।केंद्र सरकार ने लोकसभा को बताया कि राष्ट्रीय साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल ने 9.94 लाख शिकायतों के समाधान के माध्यम से 3,431 करोड़ रुपये से अधिक की बचत करने में मदद की है। नागरिक वित्तीय साइबर धोखाधड़ी रिपोर्टिंग और प्रबंधन प्रणाली साइबर अपराध की घटनाओं को आगे की कार्रवाई के लिए संबंधित राज्य स्तरीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों को भेजती है।
साइबरक्राइम डॉट जीओवी डॉट इन पोर्टल का उद्देश्य वित्तीय धोखाधड़ी की तत्काल रिपोर्टिंग को सक्षम बनाना और धोखेबाजों द्वारा धन की हेराफेरी को रोकना है। खाद्य एवं उपभोक्ता मामलों के राज्य मंत्री बी एल वर्मा ने एक प्रश्न के लिखित उत्तर में वित्तीय साइबर अपराधों से निपटने में पोर्टल की प्रभावशीलता पर जानकारी दी। गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को पोर्टल और इसके टोल-फ्री हेल्पलाइन नंबर 1930 के प्रचार के लिए सलाह जारी की है।
आनलाइन गेम में बच्चों मंे यह भावना घर कर गयी है कि मुझे हारना पसंद नहीं है। मुझे जीतना पसंद है। अब आप मुझे सलाह दे सकते हैं, जो कभी हारता नहीं वह कभी नहीं जीतता। यह एक कहावत है, वास्तविक जीवन नहीं। वास्तविक जीवन में बड़ी संख्या में लोग हमेशा हारते हैं। फालतू जवाब देना बहुत आसान है क्योंकि सत्य यह है कि अक्सर जुए में जुआ खिलाने वाला अमीर बनता है ना कि जुआ खेलने वाला। क्रिकेट पर औरों को जुआ खिलाने वाले कई रईस हर शहर में मिल जाएंगे मगर जुआ खेलकर अमीर बनने वाला मैंने नहीं देखा। कुछ हद तक जुआ खेलना मनोरंजन का साधन भी है पर जब कोई पैसा कमाने की इच्छा से जुआ खेलता है तो वह इस हद को पार कर देता है और डूबता है। जुआ खेलने से पहले महाभारत दोबारा देख लेना चाहिए। शकुनि को जुआ फलता है क्योंकि वह जुए में बेईमानी करता है युधिष्ठिर को नहीं फलता क्योंकि वह जुए को अपने ऊपर हावी होने देता है।
ऑनलाइन गेम या ऑनलाइन गेमिंग का मतलब है इंटरनेट के माध्यम से गेम खेलना, जहाँ खिलाड़ी भौतिक स्थान की परवाह किए बिना एक-दूसरे से जुड़कर या सहयोग से गेम खेल सकते हैं। सर्वे में शामिल लोगों से पहला सवाल पूछा गया था कि वे कौनसा ऑनलाइन गेम सबसे ज्यादा खेलते हैं? जिसके जवाब में 61.9 प्रतिशत ने पबजी खेलने की बात मानी थी जबकि दूसरे नंबर पर 21.7 प्रतिशत के साथ फ्री फायर और 8.5 प्रतिशत के साथ फोर्टनाइट तीसरे नंबर पर था। सबसे ज्यादा पैसा कमाने वाला गेम कौन सा है? आमतौर पर कौशल-आधारित जैसे पोकर, रम्मी, लूडो और फैंटेसी क्रिकेट खिलाड़ियों को सबसे अधिक जीत प्रदान करते हैं। नकद जीत की राशि भी अलग-अलग ऐप में अलग-अलग होती है। एमपीएल एक ऐसा प्लेटफॉर्म है जो रु. 100,000,000 तक की उच्च दैनिक और मासिक जीत की पेशकश करता है। इस तरह के खेलों से बच्चों को दूर करना बहुत जरूरी है। (हिफी)

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