अपमान व साजिश के तीर
कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय प्रवक्ता रोहन गुप्ता ने कांग्रेस का हाथ छोड़कर भाजपा का दामन थाम लिया है। लोकसभा चुनाव की घोषणा से पहले ही नेताओं का इधर से उधरा भागना जारी है। अब तो मतदान का पहला चरण (19 अप्रैल) काफी निकट है तो राजनेता तरह-तरह के तीर चलाने लगे हैं। कांग्रेस छोड़कर भाजपा मंे आने वाले रोहन गुप्ता कहते हैं कि उनका अपमान किया गया। उध्ज्ञर, दिल्ली मंे आम आदमी पार्टी (आप) की नेता आतिशी का कहना है कि दिल्ली मंे राष्ट्रपति शासन की साजिश चल रही है क्योंेिक दिल्ली सरकार के अधिकारी बैठक में शामिल नहीं हो रहे हैं। ये अधिकारी एलजी के अधीन हैं।
कांग्रेस मंे हुआ अपमान: रोहन गुप्ता
कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय प्रवक्ता रोहन गुप्ता 11 अप्रैल को भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) में शामिल हो गए हैं। उन्होंने कांग्रेस पर ‘अपमान’ और ‘चरित्र हनन का आरोप लगाते हुए पिछले महीने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया था। रोहन गुप्ता कहते हैं कि कांग्रेस ने दिशा और विश्वसनीयता खो दी है, इसके लिए वामपंथी विचारों वाले अहंकारी नेताओं को धन्यवाद, जिन्होंने जमीनी स्तर से प्रतिक्रिया को नजरअंदाज किया है। हालांकि उन्होंने किसी का नाम लिये बिना कहा वह व्यक्ति जो पार्टी के लिए संचार संभाल रहा है। गुप्ता ने कहा, इस नेता ने उस समय फोन भी नहीं किया जब मेरे पिता बीमार थे और अस्पताल में थे। उन्होंने कहा, जब से उन्होंने कार्यभार संभाला है, कई मुद्दे रहे हैं, राष्ट्रवाद, सनातन, आम आदमी पार्टी के साथ गठबंधन। मैं और कई अन्य लोग बेहद परेशान थे लेकिन हमने समझौता कर लिया। आखिरी झटका तो तब लगा जब उन्हें पिता की तबीयत के बारे में पता करने के लिए एक फोन तक नहीं किया। यह आत्म-सम्मान का मामला था।
भाजपा में शामिल होने के सवाल पर रोहन कहते हैं भाजपा आज उन सभी चीजों के लिए खड़ी है जिनका प्रतिनिधित्व कभी कांग्रेस करती थी। उन्होंने कहा, मुख्य रूप से मध्यमार्गी नीतियां और राष्ट्रवाद के दो मूल मूल्य, जिन्होंने कांग्रेस को 60 वर्षों तक शासन करने में मदद की थी लेकिन पिछले दो वर्षों में, इन मूल्यों को वामपंथी विचारों ने पीछे छोड़ दिया है। कांग्रेस के अयोध्या राम मंदिर उद्घाटन में शामिल होने से इनकार करने और देश के विकास में योगदान देने वाले व्यापारियों की आलोचना के पीछे ये थे। उन्होंने कहा, कांग्रेस ऐसी कभी नहीं थी। पार्टी एक समय उदारीकरण लेकर आई थी और देश की आर्थिक वृद्धि के लिए खड़ी थी। लाखों लोगों की आस्था और भावनाएं राम मंदिर से जुड़ी थीं लेकिन कांग्रेस ने इसे नजरअंदाज किया, ऐसा नहीं करना चाहिए था। आप उद्घाटन समारोह में शामिल नहीं हो सकते थे, लेकिन दूसरे दिन भी जा सकते थे।राहुल गांधी तो अक्सर मंदिरों में जाते हैं। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी अपने सलाहकारों की बात सुनते हैं लेकिन किसी को सही सलाहकार भी चुनना चाहिए। एक आदमी जिसने कभी चुनाव नहीं लड़ा, वह सही सलाह कैसे दे सकता है? वह जमीनी स्तर के मुद्दों को नहीं जानता है।
कांग्रेस ने रोहन गुप्ता को अहमदाबाद पूर्व लोकसभा सीट से टिकट दिया था लेकिन उन्होंने अपने पिता की खराब सेहत का हवाला देते हुए अपना नाम वापस ले लिया था। इसके कुछ दिनों बाद उन्होंने कांग्रेस पार्टी छोड़ दी। कांग्रेस में करीब 15 साल रहे गुप्ता ने भाजपा के 2047 तक विकसित भारत के एजेंडे का समर्थन किया और प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के दृष्टिकोण की सराहना की। पिछले दिनों कांग्रेस के एक और प्रवक्ता गौरव वल्लभ ने भी भाजपा का दामन थाम लिया था।
राष्ट्रपति शासन की साजिश: आतिशी
दिल्ली की मंत्री और आप नेता आतिशी का कहना है कि दिल्ली सरकार के अधिकारियों ने बैठक में शामिल होना बंद कर दिया है। इन सभी चीजों से पता चलता है कि दिल्ली में अरविंद केजरीवाल की सरकार को गिराने और राष्ट्रपति शासन लागू करने की साजिश चल रही है। केजरीवाल दिल्ली की शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में अभी जेल में हैं। आतिशी ने कहा, अरविंद केजरीवाल की सरकार के खिलाफ एक बहुत बड़ा राजनीतिक षडयंत्र तैयार किया जा रहा है। आने वाले कुछ दिनों में भाजपा शासित केंद्र सरकार दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगाने वाली है। दिल्ली में पिछले कई दिनों से किसी भी अफसर की पोस्टिंग नहीं हो रही है। दिल्ली में कई विभाग खाली हैं। एलजी साहब पिछले एक हफ्ते से गृह मंत्रालय को बिना किसी कारण दिल्ली सरकार के खिलाफ चिट्ठी लिख रहे हैं। एक 20 साल पुराने केस को उठाकर दिल्ली के मुख्यमंत्री के सचिव को बर्खास्त कर दिया गया। ये सब बताता है कि दिल्ली में राष्ट्रपति शासन लगाने की साजिश हो रही है।
दिल्ली सरकार में मंत्री आतिशी ने कहा, भाजपा को पता है कि चाहे वे कितना भी जोर लगा लें, वे दिल्ली में अरविंद केजरीवाल को हरा नहीं सकते। दिल्ली के लोग अरविंद केजरीवाल से प्यार करते हैं, दिल्ली के लोग आम आदमी पार्टी को पसंद करते हैं और दिल्ली के लोग भाजपा की हरसंभव कोशिश के बाद आप को ही वोट देते हैं। ये(भाजपा) दिल्ली में चुनाव जीतने वाले नहीं है, इसलिए ये साजिश कर रहे हैं कि दिल्ली की चुनी हुई अरविंद केजरीवाल की सरकार को गिराया जाए। (हिफी)
(अशोक त्रिपाठी-हिफी फीचर)