स्वास्थ जगत

औषधीय गुणों से भरपूर है बथुआ

बथुआ विटामिन ए का प्रमुख स्रोत है। एक शोध के अनुसार विटामिन ए की सर्वाधिक मात्रा बथुआ में पाई जाती है। इसके अलावा इसमें विटामिन बी और सी भी पाया जाता है। बथुआ विटामिन ए का प्रमुख स्रोत है। इसमें बहुत सा विटामिन ए, कैल्शियम, फॉस्फोरस और पोटैशियम होता है। एक शोध के अनुसार विटामिन ए की सर्वाधिक मात्रा बथुआ में पाई जाती है। इसके अलावा इसमें विटामिन बी और सी भी पाया जाता है।
रोग प्रतिरोधक तंत्र (इम्यून सिस्टम) के कमजोर होने से कई रोग उत्पन्न हो जाते हैं। बथुआ की सब्जी में सेंधा नमक मिलाकर, छाछ के साथ सेवन करें। इससे रोग से लड़ने की शक्ति मजबूत होती है।
बथुआ त्वचा रोग दूर करने में भी सहायक है। अपने रक्तशोधक गुणों के कारण सफेद दाग, दाद, खुजली, फोड़े, कुष्ठ आदि चर्म रोगों में नित्य बथुआ उबालकर, इसका रस पीने और तथा सब्जी खाने से लाभ होता है। देश में लोगों की अस्वास्थ्यकर जीवन शैली के कारण पाचन तंत्र से संबंधित रोग बढ़ रहे हैं। वहीं, डायबिटीज जैसे रोगों के फलस्वरूप अधिकांश लोग कब्ज की समस्या से परेशान रहते हैं। बथुआ फाइबर का प्रमुख स्रोत है, जो पाचन तंत्र से संबंधित रोगों जैसे कब्ज आदि को दूर करने में अत्यंत सहायक है। पोषक तत्वों की खान बथुआ में कैल्शियम, आयरन, मैग्नीशियम आदि समस्त तत्व पाए जाते हैं। इसलिए बथुए का नियमित प्रयोग शरीर को चुस्ती-फुर्ती और ताकत प्रदान करता है।

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